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MP में सबसे महंगे आम की हो रही खेती, सिक्योरिटी में लगे गार्ड और कुत्ते

आम की कीमत 2.5 लाख रुपये किलो

 

भारतीय आम बड़े चाव से खाते हैं. यहां के राज्यों के में आम की अलग-अलग तरह की प्रजातियां पाई जाती हैं.

ये सभी अपने अलग-अलग विशेषताओं को लेकर जाने जाते हैं.

कुछ आम अपनी मिठास तो कुछ अपनी साइज की वजह से जाने जाते हैं.

यहां लंगड़ा दशहरी मालदा समेत कई ऐसे प्रजाति के आम पाए जाते हैं जिसकी खेती कर किसान बढ़िया मुनाफा हासिल कर रहे हैं.

 

 मध्य प्रदेश के जबलपुर में खेती की जाने वाला एक आम बेहद चर्चा में बना हुआ है.

इसे दुनिया का सबसे महंगा आम बताया जा रहा है. जापान के मियाजाकी शहर में इसकी खेती बड़े पैमाने पर होती है.

इस वजह से इसका नाम मियाजाकी रखा गया है. वहीं इसका वैज्ञानिक नाम टाइयो नो टमैंगो है.

आम की कीमत 2 लाख 70 हजार प्रति किलो

 900 ग्राम वजन वाले इस आम की कीमत भारत में 2 लाख 70 हजार प्रति किलो के आसपास बताई जाती है.

जबलपुर के रहने वाले संकल्प परिहार बड़े पैमाने पर आम की खेती करते हैं.

साल 2020 में उन्होंने जापान के मियाजाकी से आम के कुछ पौधे मंगाए और उनकी खेती करने लगे.

52 पेड़ों की खेती करने लगे हैं

संकल्प परिहार बताते हैं कि उन्होंने पहले दो तीन पेड़ों से ही इस आम की खेती की थी.

उन्हें इसका फायदा हुआ तो उन्होंने इसकी संख्या बढ़ा दी. आज वह तकरीबन 52 पेड़ों की खेती करने लगे हैं.

नए पौधे लगाने के लिए वह खुद के पेड़ों के कलम या तो गुठलियों का सहारा लेते हैं.

वह कहते हैं कि देश के अन्य किसान उनसे संपर्क कर इस आम के कलम लेकर खेती कर सकते हैं.

फिलहाल इसकी खेती भारत में जबलपुर के अलावा  बांग्लादेश, थाइलैंड और फिलीपिंस में भी होने लगी है.

टाइयो नो टमैंगो( मियाजाकी) नाम का ये आम अपनी कीमतों को लेकर फिर से सुर्खियों में है.

संकल्प परिहार के मुताबिक हाल के कुछ वर्षों में इस आम के चोरी होने की घटनाएं बढ़ी है.

से में इस बार भी उन आमों की सुरक्षा के लिए उन्होंने बगीचे में 3 गार्ड और 9 कुत्ते लगा रखें हैं.

मिठास आकर्षित करती है

बताते हैं कि पकने के बाद इस आम का इसका रंग हल्का लाल और पीला हो जाता है और इसकी मिठास भी सबको अपनी तरफ आकर्षित करती है.

इसके अलावा इसमें अन्य आमों के मुकाबले रेशे बिल्कुल नहीं पाए जाते हैं. इस आम को एग ऑफ सन यानी सूर्य का अंडा भी कहा जाता हैं.

इसके अलावा अपने उग्र लाल रंग के कारण मियाज़ाकी आमों को ड्रैगन का अंडा भी कहा जाता है.

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