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किसानों को मिलेंगे गेहूं के अच्छे भाव, अब इस देश में भी किया जाएगा गेहूं का निर्यात

 

गेहूं का निर्यात

 

रूस-यूक्रेन युद्ध का लाभ भारतीय किसानों को मिल रहा है, इस वर्ष भारत का गेहूं दुनिया भर के बाज़ारों में पहुँचने से किसानों को गेहूं का अच्छा भाव मिल रहा है जो आगे भी जारी रहने का अनुमान है।

गेहूं के आयात के लिए अब एक और देश ने अनुमति दे दी है, जिससे अब इस देश में भी भारत का गेहूं पहुँचेगा, जिसका सीधा लाभ किसानों को मिलेगा।

मध्य प्रदेश के खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति एवं उपभोक्ता संरक्षण मंत्री श्री बिसाहूलाल सिंह ने बताया कि मिस्र (इजिप्ट) की शासकीय उपार्जन संस्था द्वारा भारत के गेहूँ के आयात को मान्यता प्रदान कर दी गई है।

 

खाद्य मंत्री श्री सिंह वर्ष 2021-22 एवं 2022-23 में अप्रैल माह तक मध्यप्रदेश से गेहूँ निर्यात की स्थिति की समीक्षा कर रहे थे।

उन्होंने बताया कि प्रदेश में गुणवत्तापूर्ण गेहूँ की बम्पर पैदावार के बाद अनेक देशों में गेहूँ का निर्यात किया गया, जिससे विदेशी राजस्व की भी प्राप्ति हुई है।

इन जिलों से किया गया गेहूँ का निर्यात 

खाद्य मंत्री श्री सिंह ने बताया कि वर्ष 2021-22 एवं 2022-23 में 15 अप्रैल तक 2 लाख 4 हजार 771 मीट्रिक टन गेहूँ का विदेशों में निर्यात किया गया।

इसमें इंदौर, जबलपुर, उज्जैन, हरदा, छिंदवाड़ा और दतिया से बांग्लादेश, इंडोनेशिया, श्रीलंका, यू.ए.ई., विएतनाम को गेहूँ निर्यात किया गया।

जबकि भोपाल, गुना, टीकमगढ़, मुरैना, ग्वालियर और अन्य जिलों से इजिप्ट, फिलीपींस, जिम्बाब्वे एवं तंजानिया में गेहूँ निर्यात की पर्याप्त संभावनाएँ हैं।

 

460 करोड़ रुपए के गेहूं का किया गया निर्यात

गेंहूँ के निर्यात से लगभग 460 करोड़ 08 लाख रूपये का विदेशी राजस्व भी प्राप्त हुआ है।

इस अवधि में सर्वाधिक गेहूँ इंदौर से 97 हजार 887 मी.टन एवं अन्य कुछ जिलों से न्यूनतम 3 हजार 370 मी. टन निर्यात किया गया।

उन्होंने बताया कि कांडला, मुंदरा, न्हावा शेवा, विशाखापटनम, बांग्लादेश बॉर्डर बंदरगाहों के माध्यम से गेहूँ का निर्यात किया गया।

 

1 महीने में भेजी गई गेहूं की 87 रैक

मंत्री श्री सिंह ने बताया कि विगत एक माह में मध्यप्रदेश से देश के विभिन्न 8 स्थानों पर गेहूँ के 87 रेक भेजे गए।

इनमें गांधी धाम में 17, कांडला में 16, मुंदरा में 08, खारी रोहर में 10, ध्रुब में 09, शिरवा में 08, विशाखापटनम में 09 और काकीनाडा में 10 रैक भेजे गए, जिससे 2 लाख 43 हजार 600 मीट्रिक टन गेहूँ निर्यात किया गया।

इसके अलावा 2,116 से 59 लाख 24 हजार 800 मीट्रिक टन गेहूँ भेजा जाना है।

 

उल्लेखनीय है कि मंत्रि-परिषद द्वारा लिए निर्णय के बाद निर्यातकों के पंजीयन हेतु ऑनलाईन पोर्टल प्रारंभ किया गया है।

आगामी तीन दिनों में निर्यात डेशबोर्ड भी प्रारंभ हो जाएगा।

निर्यातक एक्सपोर्ट हेल्पलाइन नंबर 18002333474 पर अपना विवरण दर्ज करा सकते हैं।

इसके अलावा दक्षिण अफ्रीका, मोजाम्बिक एवं जिम्बाब्बे के आयोजकों को लागत पत्रक भी प्रेषित किये जा चुके हैं।

 

1.85 लाख किसानों ने कराया है पंजीयन

मध्यप्रदेश के एक लाख 85 हजार 366 किसानों ने अपनी फसलों के विक्रय के लिए पंजीयन कराया है।

इसमें से एक लाख 70 हजार 48 किसानों ने गेहूँ, 15 हजार 318 किसानों ने चना विक्रय के लिए पंजीयन कराया है।

जिसके माध्यम से राज्य में कुल 27 लाख 24 हजार 999 मीट्रिक टन रबी फसलों की खरीदी किए जाने का लक्ष्य है, जिसमें गेहूँ 19 लाख 81 हजार 506, चना 4 लाख 57 हजार 680, मसूर एक लाख 14 हजार 876 एवं एक लाख 70 हजार 937 मीट्रिक टन सरसों फसल के लिए पंजीयन शामिल है।

यह पंजीयन 5017 उपार्जन केन्द्रों पर कराया गया।

source : kisansamadhan

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