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किसानों को नहीं लगाने पड़ेंगे दफ्तरों के चक्कर

घर बैठे यूं हो जाएंगे सारे काम

 

किसानों की समस्याएं कम करने के लिए मध्य प्रदेश सरकार ने एमपी किसान ऐप की शुरुआत की है.

इससे आप अपने खेत की जानकारी, खसरा, खतौरी एवं नक्शे की प्रतिलिपि प्राप्त कर सकते हैं.

साथ ही बोई गई फसलों की स्वघोषणा और शासन द्वारा समय-समय पर खेती-किसानी को लेकर जारी सलाह भा हासिल कर सकते हैं.

 

गिरदावरी खुद कर लेंगे

खेती-किसानी के दौरान किसानों के सामने लगातार समस्याएं आती रहती हैं.

किसानों को कभी प्राकृतिक आपदाओं की मार तो कभी भूमि को लेकर विवाद जैसी कई दिक्कतों का सामना कररना पड़ता है.

मध्य प्रदेश सरकार ने किसानों के जीवन को आसान बनाने के लिए एक ऐसा ऐप लॉन्च किया है, जिसकी सहायता से किसान अपनी गिरदावरी खुद कर लेंगे.

उन्हें फसलों के बीमा को लेकर सरकारी कार्यालयों के चक्कर नहीं लगाने होंगे.

 

ये सुविधाएं भी मिलेंगी

किसानों की सुविधा के लिए एमपी किसान ऐप की शुरुआत की गई है.

इस किसान ऐप से आप अपनी भूमि /खेत की जानकारी, खसरा, खतौरी एवं नक्शे की प्रतिलिपि प्राप्त कर सकते हैं, साथ ही बोई गई फसलों की स्वघोषणा, शासन द्वारा समय-समय पर जारी सलाह भी हासिल कर सकते हैं.

ऐप के माध्यम से आधार नंबर द्वारा खाता नंबर भी लिंक कर सकते हैं.

साथ ही किसानों को फसल हानि पर मुआवजा, किसान क्रेडिट कार्ड और कृषि ऋण लेने में सुविधा होगी.

 

किसानों को किया जा रहा है जागरूक

एमपी किसान ऐप के नाम से जिस एप्लीकेशन की शुरुआत की गई है.

किसान अब अपने खेत में खड़े होकर उसकी सीमांकन खुद कर सकते हैं.

इस ऐप को ग्राउंड पर लाने की शुरुआत आगर मालवा मे हो चुकी है.

आगर मालवा के भुअभिलेख अधिकारी के मुताबिक, किसानों को इस ऐप के उपयोग के बारे में बताया जा रहा है.पटवारी गांवों में जा जाकर ट्रेनिंग दे रहे हैं.

किसानों को बताया जा रहा है कि वह कैसे खेत मे खड़े होकर इस ऐप के माध्यम से अपनी जमीन, अपनी फसल का लेखा जोखा देख सकता है. बल्कि अपनी गिरदावरी भी खुद कर सकता है.

 

सरकार के इस कदम की सराहना

कई किसान सरकार के इस कदम की सराहना भी कर रहे हैं. 

किसानों की मानें तो उन्हें अपने कामों के लिए सरकारी दफ़्तरो के चक्कर लगाने से छुटकारा भी मिलेगा.

किसान अपनी फसलों की सही जानकारी ओर वास्तविक स्थिति भी वह पोर्टल पर लोड कर पाएंगे.

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