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अब पहले से ज्यादा मूंग खरीदेगी मध्य प्रदेश सरकार

 

कोटे में भारी वृद्धि

 

किसानों के लिए खुशखबरी

 

केंद्र सरकार की अनुमति के बाद अब मध्य प्रदेश के किसानों से एमएसपी पर 2 लाख 47 हजार मीट्रिक टन मूंग खरीदी जाएगी.

 

मध्य प्रदेश के किसानों के लिए खुशखबरी है. केंद्र सरकार ने यहां पर मूंग (Mung bean) की सरकारी खरीद के कोटे में भारी वृद्धि कर दी है.

इससे खरीद न होने वाली समस्या खत्म होने की उम्मीद है. यह प्रमुख मूंग उत्पादक राज्य है, इसलिए इस निर्णय से किसानों को सीधा फायदा पहुंचेगा.

यहां पर एक लाख 13 हजार मीट्रिक टन ग्रीष्मकालीन मूंग की अतिरिक्त खरीदी की जाएगी.

केंद्र सरकार ने इसके लिए अनुमति प्रदान कर दी है.

 

प्रदेश के किसान-कल्याण तथा कृषि विकास मंत्री कमल पटेल ने बताया कि पहले मध्य प्रदेश में एक लाख 34 हजार मीट्रिक टन ग्रीष्मकालीन मूंग की खरीदी की जा रही थी.

किसानों की मांग को देखते हुए केंद्र सरकार ने एक लाख 13 हजार मीट्रिक टन अतिरिक्त ग्रीष्मकालीन मूंग खरीदी की अनुमति दी है.

अब प्रदेश में किसानों से 2 लाख 47 हजार मीट्रिक टन मूंग खरीदी जाएगी. इससे साफ है यहां उत्पादित ज्यादातर मूंग की खरीद न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) पर होगी.

 

प्रति क्विंटल 7196 रुपए है एमएसपी

खरीद कोटा में वृद्धि के लिए पटेल ने केन्द्रीय कृषि मंत्री नरेन्द्र सिंह तोमर और मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान का आभार प्रकट किया है.

उन्होंने कहा कि पहली बार ग्रीष्मकालीन मूंग की इतनी सरकारी खरीद होगी. मूंग का समर्थन मूल्य 7196 रुपए प्रति क्विंटल है.

यहां पर इसी रेट से खरीद जारी है. काफी जगहों पर खरीद न होने से किसान परेशान थे, लेकिन अब कोटा में वृद्धि के बाद ऐसी दिक्कत नहीं आएगी.

 

15 सितंबर तक होगी खरीद

कृषि मंत्री कमल पटेल के मुताबिक मूंग खरीद का कोटा बढ़ने के बाद प्रदेश के किसानों (Farmers) को चिंता करने की जरूरत नहीं है.

अब सरकार एमएसपी पर 15 सितंबर तक खरीद करेगी. यहां पर बारिश और खरीद पोर्टल में मेंटेनेंस की वजह से कुछ दिन तक खरीद रोकी गई थी.

 

जानिए मूंग की खेती के बारे में

केंद्रीय कृषि मंत्रालय के मुताबिक उत्तर भारत के सिंचित क्षेत्र में अल्पावधि वाली दलहनी फसल मूंग को ग्रीष्मकाल में उगाकर कृषकों की वार्षिक आय में अप्रत्याशित वृद्धि संभव है.

मूंग के दाने में 24-25 फीसदी प्रोटीन, 56 परसेंट कार्बोहाइड्रेट व 1.3 फीसदी वसा पाया जाता है.

ग्रीष्म मूंग की खेती चना, मटर, गेहूं, सरसों, आलू, जौ, अलसी आदि फसलों की कटाई के बाद खाली हुए खेतों में की जा सकती है.

 

पंजाब, हरियाणा, उत्तर प्रदेश और मध्य प्रदेश प्रमुख ग्रीष्म मूंग उत्पादक राज्य हैं.

धान-गेहूं फसल चक्र वाले क्षेत्रों में जायद मूंग की खेती द्वारा मृदा उर्वरता को उच्च स्तर पर बनाए रखा जा सकता है.

बारहवीं पंचवर्षीय योजना (2012-2015 ) में भारत में मूंग का कुल क्षेत्र 30.41 लाख हेक्टेयर व उत्पादन 14.25 लाख टन था.

लेकिन इस साल सरकार ने 2.64 मिलियन टन पैदावार की उम्मीद रखी हुई है.

 

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