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महाराष्ट्र में 2200 रुपये प्रति क्विंटल से अधिक हुआ प्याज का थोक दाम

 

क्या टूटेगा रेट का पिछला रिकॉर्ड ?

 

पिछले साल के मुकाबले तीन गुना हुआ प्याज का थोक रेट, नासिक में 2255 रुपये तक पहुंचा दाम, किसानों को और अच्छे दाम की उम्मीद.

 

प्याज के सबसे बड़े उत्पादक महाराष्ट्र में इसका दाम रोजाना नई ऊंचाई पर पहुंच रहा है.

पिछले साल जहां 26-27 मई को नासिक में प्याज 500 से 650 रुपये क्विंटल के भाव पर बिक रही थी वहीं इस साल यह यहां 1500 से 2255 रुपये तक के रेट पर बिक रही है. इससे किसान खुश हैं.

हालांकि, उनका कहना है कि अच्छा फायदा तब मिलेगा जब यह कम से कम 30 रुपये के रेट पर बिकेगी.

फिलहाल रबी सीजन में प्याज के दाम के इस रुख ने बता दिया है कि इस बार पिछले साल का रिकॉर्ड टूट सकता है.

 

महाराष्ट्र प्याज उत्पादक संगठन के संस्थापक अध्यक्ष भारत दिघोले ने बताया कि नासिक की पिंपलगांव मंडी में बृहस्पतिवार को इसका मॉडल प्राइस 1601 रुपये रहा.

जबकि अधिकतम रेट 2255 रुपये रहा. कलवन मंडी में क्वालिटी के हिसाब से अधिकतम रेट 1900 और 2000 जबकि मॉडल प्राइस 1600 और 1700 रुपये प्रति क्विंटल रहा. येवला 1700 रुपये का रेट है.

 

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सबसे बड़ी मंडी में कितना है रेट ?

दिघोले ने बताया कि जब कोविड की वजह से नासिक की मंडियों को बंद रखा गया था तब 1500-1600 रुपये अधिकतम दाम मिल रहा था.

एशिया की सबसे बड़ी मंडी लासलगांव में बृहस्पतिवार को आवक 15,100 क्विंटल की रही. यहां न्यूनतम रेट 750, मॉडल प्राइस 1500 रुपये जबकि अधिकतम दाम 1971 रुपये क्विंटल रहा.

उन्होंने बताया कि जिन किसानों के पास स्टोरेज का इंतजाम है वो और अच्छे दाम की उम्मीद में प्याज रखे हुए हैं.

 

पिछले साल प्याज के दाम की स्थिति को आप इस ट्वीट से समझ सकते हैं.

 

 

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क्यों बढ़ सकता है दाम ?

प्याज उत्पादक प्रदेश यूपी और बिहार में पहले ताउते और अब यास की वजह से प्याज की फसल को बड़े पैमाने पर नुकसान हुआ है.

काफी प्याज खेतों में ही सड़ गई है. इसकी वजह से यहां इसकी मांग और आपूर्ति में अंतर आ सकता है. यही अंतर दाम में आग लगाएगा.

पिछले साल 100 रुपये किलो से अधिक रेट पर प्याज बिका था. इस बार कमी की वजह से इससे अधिक रेट हो सकता है.

 

भारत में प्याज उत्पादन

  • महाराष्ट्र, तेलंगाना, मध्य प्रदेश, यूपी, बिहार, गुजरात, कर्नाटक और राजस्थान इसके बड़े उत्पादक हैं.
  • देश में सालाना प्याज उत्पादन औसतन 2.25 से 2.50 करोड़ मीट्रिक टन के बीच है.
  • हर साल कम से कम 1.5 करोड़ मीट्रिक टन प्याज बेची जाती है.
  • करीब 10 से 20 लाख मीट्रिक टन प्याज स्टोरेज के दौरान खराब हो जाती है.
  • औसतन 35 लाख मीट्रिक टन प्याज एक्सपोर्ट (Export) की जाती है.
  • 2020-21 में इसका उत्पादन (Onion Production) 26.09 मिलियन टन होने का अनुमान है.
  • इस साल यानी 2020-21 में 15,95,000 हेक्टेयर में इसकी खेती हुई है.

 

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