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ब्रोकोली की खेती करने का सही तरीका

 

जिससे होगी अच्छी पैदावार

 

ब्रोकोली, फूलगोभी की तरह दिखने वाली एक सब्जी है. इसे हरी गोभी के नाम से भी जाना जाता है.

भारत में ब्रोकोली की खेती उत्तर भारत के मैदानी इलाके में की जाती है. आमतौर पर ब्रोकोली की खेती सर्दियों के मौसम में की जाती है.

 

इसमें आयरन, प्रोटीन, कैल्शियम, कार्बोहाइड्रेट, क्रोमियम एवं विटामिन-ए पोषक तत्व प्रचुर मात्रा में पाया जाता है.

जिसके चलते इसकी सब्जी सेहत के लिए अच्छी मानी जाती है.

 

इसके साथ ही इसमें पादप रसायन और एंटी-ऑक्सीडेंट जैसे गुण भी पाये जाते हैं जो हमारे शरीर की रोगप्रतिरोधक क्षमता को मजबूत करते है एवं हमें रोगों से लड़ने की शक्ति भी प्रदान करता है.

इसके इन्ही गुणों के चलते बाज़ार में काफी अधिक कीमत में इसकी बिक्री होती है.

 जिसके चलते किसानों में ब्रोकोली की खेती की तरफ काफी रुझान बढ़ रहा है.

लेकिन इसकी अच्छी उपज और पैदावार के लिए हमे खेती की सही जानकारी होनी चाहिए तब ही हम फसल की अच्छी उपज प्राप्त कर सकते हैं, 

तो आइये आज हम अपने इस लेख में आपको ब्रोकोली की खेती करने का तरीका बताते हैं जो आपको इसकी खेती करने में काफी सहायक होगी.

 

ब्रोकोली की खेती के लिए उपयुक्त जलवायु एवं मिटटी

ब्रोकोली की खेती के लिए ठंडी जलवायु अच्छी मानी जाती है एवं ब्रोकोली की अच्छी फसल प्राप्त करने के लिए इसकी खेती के लिए बालुई दोमट मिटटी अच्छी मानी जाती है.

 

ब्रोकोली की खेती के लिए तापमान

अगर आप ब्रोकोली की अच्छी उपज पाना चाहते हैं तो ध्यान रखें इसकी खेती के लिए तापमान 20 – 25 डिग्री सेल्सियस के बीच अच्छा माना जाता है.

 

ब्रोकोली की खेती के लिए खेत की तैयारी

ब्रोकोली की खेती के लिए सितम्बर से फरबरी के बीच का महीना अच्छा माना जाता है.

इसकी पत्ता गोभी की तरह नर्सरी तैयार की जाती है इसके बाद इसमें रोपण की प्रक्रिया शुरू की जाती है.

इसमें 3 फीट लम्बी और 1 फीट चौड़ी क्यारी तैयार कर बीज की बुवाई की जाती है.

 

ब्रोकोली की खेती में बुवाई प्रक्रिया

नर्सरी तैयार करने के बाद इसमें बीज को पंक्तियों में 4 – 5 से.मी की दूरी पर 2. 5 से. मी की गहरायी से बुवाई की प्रक्रिया की जाती है.

इस बात का विशेष ध्यान दें इसमें एक पंक्ति से दूसरी पंक्ति की दूरी 15- 60 से. मी की डोरी पर करनी चाहिए.

 

ब्रोकोली की खेती के लिए उपयुक्त खाद

फसलों की अच्छी खेती के लिए खाद बहुत अहम भूमिका निभाती है क्यूंकि खाद के जरिये ही फसल में उपज अच्छी होती ही.

बात करने ब्रोकोली की खेती के लिए सड़ी हुई गोबर की खाद डालनी चाहिए इसके अलावा इसमें 1 किलोग्राम नीम खली एवं 1 किलोग्राम अरंडी की खली को मिलाकर खेत में डालना चाहिए.

 

ब्रोकोली की खेती में कटाई का समय

ब्रोकोली की फसल 65-70 दिन में पककर तैयार हो जाती है.

इसके बाद से इसमें जन कलियाँ गुच्छा बनकर तैयार हो जाती है. तब इसमें कटाई की प्रक्रिया शुरू कर दी जाती है.

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